नई दिल्ली: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने सभी कंपनियों के लिए कॉर्पोरेट टैक्स घटाकर 25 पर्सेंट करने का संकेत दिया है। 5 जुलाई के बजट में उन्होंने 400 करोड़ रुपये तक की आमदनी वाली कंपनियों को 25 पर्सेंट के कम टैक्स का फायदा देने का प्रस्ताव रखा था। वित्त मंत्री ने राज्यसभा में मंगलवार को वित्त विधेयक पर चर्चा का जवाब देते हुए कहा, ‘हम 99.3 पर्सेंट कंपनियों के लिए कॉर्पोरेट टैक्स घटाकर 25 पर्सेंट कर चुके हैं। कुछ ही कंपनियां इससे अधिक टैक्स दे रही हैं और उन्हें भी जल्द ही इस दायरे में लाया जा सकता है।’
निर्मला ने कहा कि मोदी सरकार के 2014 के पहले बजट में कॉर्पोरेट टैक्स को घटाकर 25 पर्सेंट करने का वादा किया गया था और इसे पूरा किया गया है। वित्त विधेयक को राज्यसभा ने मंगलवार को ध्वनिमत से पारित करके लोकसभा को वापस लौटा दिया। इसके साथ ही नरेंद्र मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल के पहले बजट के पास होने की प्रक्रिया पूरी हो गई।वित्त मंत्री ने राज्यसभा में कहा कि सरकार ने टैक्स पर जो प्रस्ताव रखे हैं, उनका मकसद संपत्ति का पुनर्वितरण है ताकि समावेशी विकास हो सके। उन्होंने बजट भाषण में 400 करोड़ रुपये तक की सालाना वाली आमदनी कंपनियों के लिए कॉर्पोरेट टैक्स को 30 पर्सेंट से घटाकर 25 पर्सेंट करने का प्रस्ताव रखा था।
निर्मला ने बजट में कहा था, ‘जहां तक कॉर्पोरेट टैक्स का सवाल है, हम इसमें सिलसिलेवार कटौती जारी रखेंगे। अभी 250 करोड़ तक की आमदनी वाली कंपनियों पर 25 पर्सेंट का टैक्स लगता है। मैं इसके दायरे में 400 करोड़ रुपये तक की आमदनी वाली कंपनियों को लाने का प्रस्ताव पेश कर रही हूं।’ इसके बाद सिर्फ 0.7 पर्सेंट कंपनियां बची रह जाएंगी, जिन्हें ऊंची दरों पर टैक्स का भुगतान करना होगा।
वित्त मंत्री ने कहा कि मोदी सरकार और बड़े जनादेश के साथ सत्ता में लौटी है। सरकार नया भारत बनाना चाहती है, जिसमें अधिक पारदर्शिता हो। मिनिमम गवर्नमेंट, मैक्सिमम गवर्नेंस हो। उन्होंने कहा था कि हम संसाधनों के बंटवारे का तरीका बदलकर समाज में समानता बढ़ाना चाहते हैं। उन्होंने यह भी कहा कि सरकार ने गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियों की हालत सुधारने के लिए कदम उठाए हैं। इस सेक्टर में कैश की कमी दूर करने की कोशिश की जा रही है। वित्त मंत्री ने मंगलवार को पेट्रोल और डीजल पर सेस बढ़ाने का बचाव किया। उन्होंने कहा कि अभी महंगाई दर काफी कम है। इसलिए सेस बढ़ाने से महंगाई का दबाव नहीं बढ़ेगा।
साल में एक बैंक खाते से एक करोड़ से अधिक रकम निकालने पर 2 पर्सेंट के टैक्स डिडक्टेड ऐट सोर्स (टीडीएस) के बारे में वित्त मंत्री ने कहा कि यह कुल टैक्स देनदारी के अतिरिक्त नहीं होगी। उन्होंने यह भी कहा कि इसे टैक्स रिटर्न भरते समय कुल बकाया टैक्स से घटाया जा सकता है। इसे टैक्सपेयर की आमदनी नहीं माना जाएगा। यह नियम 1 सितंबर से लागू होगा।